सुमिरन के आखिरी दिन पर दीपक माथुर व संजय रायजादा ने दी गीत और भजनों की प्रस्तुति
जयपुर। जवाहर कला केंद्र में आयोजित तीन दिवसीय संगीत उत्सव ‘सुमिरन’ के आखिरी दिन रविवार को संजय रायजादा और दीपक माथुर ने भजन और गीतों से समां बांधा। संगीत प्रेमियों के लिए आयोजित यह कार्यक्रम गजल़ सम्राट जगजीत सिंह को समर्पित रहा।
दीपक माथुर ने मां भवानी को याद करते हुए ‘हे अम्बे तेरे द्वारे आ गए हैं’, ‘लक्ष्मण दायें भाग हैं, सीता बायीं ओर’ भजन के साथ कार्यक्रम की शुरुआत की। इसके बाद दीपक ने ‘चांद उगता आ रहा है’, ‘सूरज निकल रहा है तेरा ख्याल लेकर’, ‘नीले नभ के तले’, ‘आंख जब अश्क बहाये’ गीतों के साथ शाम को सुरमयी बनाया गया। इस दौरान माहौल में भक्तिमय रंग भी घुला जिसमें ‘आ गए हैं राम अवध में’, ‘मेरो मन राम ही राम रटे रे’ भजन गुनगुनाए गए।
वहीं संजय रायजादा ने ‘हे राम, हे राम, जग में साचो तेरा नाम (सुदर्शन फकीर)’, ‘दीनन दुख हरन देव संतर हितकारी (सूरदास), ‘अम्बे चरण कमल हैं तेरे’ भजनों की भावपूर्ण प्रस्तुति दी। इसके अलावा ‘ये दौलत भी लेलो, ये शोहरत भी लेलो’, ‘मिलकर जुदा हुए तो न सोया करेंगे हम’ और ‘कृष्ण जिनका नाम है, गोकुल जिनका धाम है’ भजनों संग गीतों के साथ कार्यक्रम का समापन हुआ। इस दौरान महेंद्र शर्मा, गुलाम गौस, पवन जैन, संदीप सोनी, पवन बालोदिया, आबिद खान ने संगत की।