जयपुर। वित्त मंत्री दिया कुमारी ने गुरुवार को विधानसभा में कहा कि राज्य सरकार के कर्मचारियों और पेंशनरों को चिकित्सकीय सुविधाएं उपलब्ध करवाने के लिए संचालित आरजीएचएस योजना को बंद करने का वर्तमान में कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है।
वित्त मंत्री प्रश्नकाल के दौरान सदस्य द्वारा इस सम्बन्ध में पूछे गए पूरक प्रश्नों का जवाब दे रही थी। इस दौरान उन्होंने सदन को आश्वस्त किया कि आरजीएचएस योजनान्तर्गत पंजीकृत दवा विक्रेताओं द्वारा दवा न देने की शिकायत प्राप्त होने पर विक्रेता के विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी।
इससे पहले विधायक चंद्रभान सिंह चौहान के मूल प्रश्न के लिखित जवाब में वित्त मंत्री ने बताया कि आरजीएचएस योजनान्तर्गत राज्य कर्मचारियों व पेंशनर्स के लिए चिकित्सा सुविधाओं के संबंध में बायोमेट्रिक ऑथेंटिकेशन की कार्यवाही प्रक्रियाधीन होने के कारण अनुमोदित अस्पतालों में लाभार्थियों का लाईव फोटो अनिवार्य किया गया है।
उन्होंने बताया कि इन दिशा-निर्देशों की निरन्तरता में 16 जनवरी, 2025 एवं संशोधित निर्देश 22 जनवरी 2025 के द्वारा गंभीर बीमारियों से ग्रसित बेडरिडन पेंशेंट एवं 75 या उससे अधिक आयु के लाभार्थियों को लाईव फोटो से छूट प्रदान की गई है। आरजीएचएस योजनान्तर्गत सतर्कता शाखा द्वारा विश्लेषण उपरान्त कतिपय प्रकरणों में दुरूपयोग पाए जाने के कारण दुरूपयोग को रोकने के दृष्टिगत यह परिवर्तन किए गए है।